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Wednesday, December 24, 2008

दमदार बायोडाटा यानि नौकरी का पासपोर्ट...

आजकल नौकरियों की हालत एक अनार सौ बीमार वाली हो गई है। एक ही नौकरी के लिए सैकड़ों उम्मीदवारों की लाइन लगी होती है। ऎसे में सभी को तो इंटरव्यू के लिए बुलाया नहीं जा सकता, लिहाजा कॉल के लिए चयन रिज्यूमे के आधार पर होता है। ऎसे में रिज्यूमे तैयार करते समय कुछ खास बातों का ध्यान रखना जरूरी है।
* पद की जरूरतों के मुताबिक हो — रिज्यूमे को देखने के दौरान आपकी एक छवि बना ली जाती है। ऎसे में अगर देखने वाले को जॉब प्रोफाइल से मैच करती चीजें नहीं मिलेंगी, तो वह आपको नौकरी के लिए सही कैसे मानेगा। इसलिए बायोडेटा का डिजाइन ऎसा रखें, जिसमें आपकी काबिलियतें व अनुभव उभरकर आएं। ध्यान रखिए कि इस डिजाइन के जरिये आपको पहली ही नजर में पढ़ने वाले को प्रभावित करना है।
* सही सामग्री चुनें — रिज्युमे का अच्छा डिजाइन सही जानकारी के बिना कुछ नहीं कर पाएगा, इसलिए इसमें दी जाने वाली जानकारियों का खास ध्यान रखें। इंटरव्यू के लिए आने वाले बुलावों की संख्या इस बात पर काफी निर्भर करती है कि आप अपने बारे में जानकारी किस तरह देते हैं।
* पावर वर्ड चुनें — अंकों और संख्यात्मक वाले जानकारी का प्रयोग एक अच्छी छवि बनाता है, जबकि आम व्क्तव्य जल्दी ही भुला दी जाती हैं। साथ ही, नौकरी के लिए आवेदन करते समय शब्दों का चयन बेहद सोच-समझकर करें। आपकी कोशिश पद के जरूरत से मेल करते शब्दों को चुनने की होनी चाहिए।
* कूट शब्द —नौकरी के लिए विज्ञापन देते समय कई तरह के कूट-शब्द इस्तेमाल किए जाते हैं। इन शब्दों को पहचानें और इन्हें रिज्यूमे में डालें। इससे आपका प्रभाव बहुत अच्छा बनेगा।
*शीर्षक व इबारतें — किसी भी जॉब के लिए हजारों की संख्या में आवेदन आते हैं। ऎसे में आपका बायोडाटा इतना इंप्रेसिव होना चाहिए कि वह पांच सेकंड में ही दूसरों को प्रभावित कर दे। इसके लिए आप अपनी स्किल्स व योग्यताओं को अलग-अलग हिस्सों में बांटकर हेडिंग्स के जरिये पेश करें। हालांकि ये शीर्षक नौकरी की जरूरत से मेल खानीचाहिए।
* नियोक्ता की जरूरत पहचानें — आज के प्रतियोगी युग में आपको जॉब तभी मिल सकती है, जब आप खुद को अच्छे से प्रेजेंट करने के साथ जॉब ऑफर करने वाले की जरूरत को भी समझेंगे। ऎसे में आप अपने रिज्यूमे में यह लिख सकते हैं कि इस जॉब में आने वाली परेशानियों को आप किस तरह सुलझाने में सक्षम हैं।
* नौकरी के मुताबिक बायोडाटा — हर जगह एक ही रिज्यूमे भेज देने से काम नहीं चलेगा, बल्कि इसमें जॉब की जरूरत के मुताबिक बदलाव लाना चाहिए। यह बात आपके कवर लेटर पर भी लागू होती है। इस बात का विशेष ध्यान रखें कि गलत वर्तनी और कमजोर संरचना के वाक्यों से उम्मीदवार के बारे में नकारात्मक प्रभाव पड़ता है। इसलिए रिज्यूमे को त्रुटि रहित बनाने का प्रयास करें। यह सुनिश्चित कर लें कि आपका रिज्यूमे साफ-सुथरा व देखने में सुंदर लगे। इसके लिए आपको उच्च गुणवत्ता के सफेद कागज को प्रयोग में लेना चाहिए। रिज्यूमे का फाइनल प्रिंट लेने से पहले एक प्रिंट लेकर उसे अच्छी तरह से देख लें, यह सुनिश्चित कर लें कि उसमें कोई त्रुटि अब नहीं बची है।
* स्किल्स दिखाएं — अपने स्किल्स को पहचानें व इंटरव्यू के दौरान उसे बताएं भी । इसके साथ ही रिज्यूमे में इस बात को अच्छी तरह से दिखांए । ध्यान रखें कि इंटरव्यू के दौरान इस पक्ष पर आपसे सबसे ज्यादा सवाल पूछे जा सकते हैं, लिहाजा इसे उसी तरह पेश करें।
* वेतन के मुताबिक छवि बनाएं — नौकरी के स्तर व वेतन वृद्धि को ध्यान में रखते हुए ही रिज्यूमे तैयार करें। साथ ही, अपनी ऎसी छवि भी तैयार करें, जिससे लगे कि आप वाकई इस स्तर तक पहुंचने के काबिल हैं।
* जानकारी सही तरह रखें — रिज्यूमे तैयार करते समय अकसर लोग महत्वपूर्ण जानकारी को नीचे कर देते हैं और कम जरूरी जानकारियां पहले डाल देते हैं। इसलिए जब भी अपना रिज्यूमे तैयार करें, तो उस दौरान सारी जानकारी को प्राथमिकताओं के हिसाब से व्यवस्थित करें। ध्यान रखें कि एक अच्छी व दमदार बिन्दु बाद में आने वाली अच्छी जानकारी को ज्यादा प्रभावी बना देती है।
* अपना रिज्यूमे विशिष्ट बनाएं — अपनी क्षमताओं व कुशलताओं को आप ऎसे वर्गीकृत कर प्रस्तुत करें जिसमें आप सहजता का अनुभव करें। यह आपको संबंधित व पेशेवर अनुभवों से दूसरे कार्यानुभव को एक अतिरिक्त वर्ग बनाकर अलग करने में सहयोग करेगा। इस प्रकार आप संबंधित कुशलताओं को अपने रिज्यूमे के शीर्ष पर वर्ग में रख सकते हैं ताकि वे पहले पढ़े जा सकें। संबंधित अनुभव के स्थान पर आप अपने क्षेत्र के अनुभव को वर्ग शीर्षक में लिख सकते हैं, जैसे व्यापारिक अनुभव, इंजीनियरिंग अनुभव, मानव सेवा अनुभव, विक्रय अनुभव आदि।
यह सब लिखते हुए इस बात का ध्यान रखें कि रिज्यूमे में कोई ऎसी बात नहीं लिखें, जिससे कि आप को इन्टरव्यू के दौरान किसी भी प्रकार की असुविधा का सामना करना पड़े। इसमें वही बातें और अनुभव लिखें जिसे आप पूरा करते हों, ऎसी बातें या ऎसे तथ्य नहीं डाले जाने चाहिए जो झूठे हों।
ध्यान रहे कि इन्टरव्यू लेने वाला आपके रिज्यूमे के आधार पर ही आपके व्यक्तित्व का आकलन करता है और उसी के आधार पर आपसे पूछे जाने वाले सवालों का स्तर भी तय किया जाता है। ऎसे में आधारहीन बातों का रिज्यूमे में उल्लेख आपको ही परेशानी में डाल सकता है। प्रयास करें कि ऎसे किसी भी तथ्य या अनुभव का उल्लेख न हो जो पूरा नहीं करते हों या फिर उसमें आपकी पकड़ कमजोर हो। इसके बजाय यह ज्यादा अच्छा है कि कमजोर पक्षों का उल्लेख रिज्यूमे में हो ही न।

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